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Mahisasurmardini Stotram /

महिषासुरमर्दिनी अयि गिरिनन्दिनि नन्दितमेदिनि विश्वविनोदिनि नन्दिनुते गिरिवरविन्ध्यशिरोऽधिनिवासिनि विष्णुविलासिनि जिष्णुनुते । भगवति हे शितिकण्ठकुटुम्बिनि भूरिकुटुम्बिनि भूरिकृते जय जय हे महिषासुरमर्दिनि रम्यकपर्दिनि शैलसुते ॥ १ ॥  सुरवरवर्षिणि दुर्धरधर्षिणि दुर्मुखमर्षिणि हर्षरते त्रिभुवनपोषिणि शङ्करतोषिणि किल्बिषमोषिणि घोषरते ! दनुजनिरोषिणि दितिसुतरोषिणि दुर्मदशोषिणि सिन्धुसुते जय जय हे महिषासुरमर्दिनि रम्यकपर्दिनि शैलसुते ॥ २ ॥ अयि जगदम्ब मदम्ब कदम्ब वनप्रियवासिनि हासरते शिखरि शिरोमणि तुङ्गहिमलय…

कामिका एकादशी (अजा) का व्रत एवं महत्त्व

अजा (कामिका ) एकादशी 15 अगस्त यानि शनिवार को मनाई जाएगी। अजा एकादशी हर साल भाद्रपद यानि भादो माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को मनाई जाती है। ऐसी प्राचीन मान्यता  है की इस व्रत को करने वालों को उनके द्वारा जीवन में किए गए समस्त पापों से मुक्ति मिलती है और भगवान लक्ष्मी नारायण…

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